57إِنَّ الَّذينَ يُؤذونَ اللَّهَ وَرَسولَهُ لَعَنَهُمُ اللَّهُ فِي الدُّنيا وَالآخِرَةِ وَأَعَدَّ لَهُم عَذابًا مُهينًاफ़ारूक़ ख़ान & अहमदजो लोग अल्लाह और उसके रसूल को दुख पहुँचाते है, अल्लाह ने उनपर दुनिया और आख़िरत में लानत की है और उनके लिए अपमानजनक यातना तैयार कर रखी है